रायगढ़, 7 सितम्बर 2025/ जिले के मेहनती वंचित युवाओं को रोजगार एवं स्वरोजगार से जोडऩे के लिए जिला प्रशासन की पहल पर संचालित गुरुकुल की वित्त मंत्री श्री ओ.पी.चौधरी ने रविवार को गढ़उमरिया स्थित प्रशिक्षण केंद्र में पहुंचकर निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने विभिन्न कोर्स का प्रशिक्षण प्राप्त कर रही 120 छात्राओं से संवाद किया। उन्होंने अपने जीवन के अनुभव साझा कर उन्हें आत्मविश्वास व सकारात्मक सोच के साथ आगे बढऩे के लिए प्रेरित किया। इस अवसर पर कलेक्टर श्री मयंक चतुर्वेदी, सहायक कलेक्टर श्री अक्षय डोसी, एसडीएम श्री महेश शर्मा तथा संबंधित विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।
वित्तमंत्री श्री चौधरी ने छात्राओं को संबोधित करते हुए अपने बचपन और शिक्षा के दौरान के संघर्षों को साझा किया। उन्होंने कहा कि उनके पिता का निधन तब हो गया था जब वे मात्र 8 वर्ष के थे। उन्होंने सरकारी स्कूल से बारहवीं तक शिक्षा प्राप्त की और आगे की पढ़ाई के दौरान कई कठिनाइयों का सामना किया, लेकिन धैर्य, मेहनत और आत्मविश्वास के बल पर सफलता अर्जित की। उन्होंने कहा कि जीवन में आगे बढऩे के लिए कठिनाइयों का सामना करना ही पड़ता है। आत्मविश्वास और सकारात्मक सोच सफलता की कुंजी है। आज जीवन में जो भी उपलब्धियां मुझे मिली हैं, वे संघर्ष और ईमानदार प्रयासों के आधार पर ही संभव हुई हैं।
वित्त मंत्री श्री चौधरी ने कहा कि आगे नवगुरुकुल को सेंटर ऑफ एक्सीलेंस के रूप में विकसित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि वर्तमान में यहां 120 छात्राओं को प्रशिक्षण दिया जा रहा है, भविष्य में इसे विस्तारित किया जाएगा। छात्राओं की सफलता ही इस विस्तार की नींव बनेगी। उन्होंने अधिकारियों को प्रशिक्षण में फिटनेस, योग और खेलकूद जैसी गतिविधियों को भी शामिल करने पर जोर दिया, ताकि छात्राओं का शारीरिक और मानसिक विकास समान रूप से हो सके। वित्त मंत्री श्री चौधरी ने नव गुरुकुल में छात्राओं के लिए उपलब्ध आवासीय सुविधा, भोजन, पेयजल, बिजली, पाठ्य सामग्री और इंटरनेट जैसी आवश्यक व्यवस्थाओं की जानकारी ली। उन्होंने कहा कि यदि किसी भी प्रकार की परेशानी या कमी हो तो छात्राएं बिना संकोच बताएँ, ताकि उन्हें समय पर दूर किया जा सके।
कलेक्टर श्री मयंक चतुर्वेदी ने छात्राओं से कहा कि वे ऐसी शिक्षा और कौशल प्राप्त करें जो उन्हें आत्मविश्वास, आर्थिक मजबूती और आत्मसम्मान दें। उन्होंने कहा कि वे आपस में स्वस्थ प्रतिस्पर्धा बनाए रखें, एक-दूसरे को प्रोत्साहित करें और सकारात्मक माहौल तैयार कर अपने लक्ष्य की ओर अग्रसर हों।
*नव गुरुकुल: अवसर और सशक्तिकरण का केंद्र*
जिला प्रशासन की पहल पर रायगढ़ में नवगुरुकुल संचालित किया जा रहा है, जहाँ 120 बालिकाओं को नि:शुल्क आवासीय दो वर्षीय प्रशिक्षण दिया जा रहा है। यहाँ भोजन, आवास और अन्य व्यवस्थाएँ पूरी तरह नि:शुल्क उपलब्ध हैं। नवगुरुकुल एक गैर-लाभकारी संगठन है। जिसका उद्देश्य मेहनती वंचित युवाओं को गरिमामय करियर दिलाना है। छात्राओं को इंजीनियरिंग, प्रोग्रामिंग, बिजनेस, डिजिटल मार्केटिंग सहित विभिन्न क्षेत्रों में प्रशिक्षित किया जाता है। प्रशिक्षण के बाद उन्हें रोजगार के अच्छे अवसर मिलते हैं, जबकि कई पूर्व छात्राएँ आज 12-18 लाख रुपए वार्षिक कमा रही हैं। नवगुरुकुल की नेतृत्व टीम में आईआईटी दिल्ली, एनआईटी सूरत, सेंट स्टीफेंस कॉलेज और अन्य संस्थानों के पूर्व छात्र शामिल हैं, जिन्होंने भारत और अमेरिका दोनों में व्यापक रूप से काम किया है। इनमें निधि अनारकत भी हैं, जो हार्वर्ड की पूर्व छात्रा हैं। नवगुरुकुल ने पहले ही अपने शिक्षण और पाठ्यक्रम में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस को एकीकृत करने में महत्वपूर्ण नवाचार किए हैं। ताकि नवगुरुकुल से प्रशिक्षित होने वाली छात्राएँ केवल आज की नौकरियों के लिए ही नहीं, बल्कि भविष्य की नौकरियों के लिए भी तैयार हों। देशभर में नवगुरुकुल के 9 परिसर संचालित हैं, जिनमें 1,100 से अधिक छात्राएँ नामांकित हैं। रायगढ़ में इसे जिला प्रशासन के सहयोग से केआईटी कॉलेज परिसर में संचालित किया जा रहा है, जिससे यहाँ की बालिकाएँ आत्मनिर्भर बनने और उज्ज्वल भविष्य निर्माण की ओर अग्रसर हो रही हैंl